पुरानी पेंशन बहाली की मांग को लेकर केंद्रीय राज्यमंत्री को भेजा ज्ञापन

पुरानी पेंशन बहाली की मांग को लेकर केंद्रीय राज्यमंत्री को भेजा ज्ञापन

फोटो परिचय- केंद्रीय राज्यमंत्री के प्रतिनिधि को ज्ञापन सौंपते संघर्ष समिति के सदस्य।

फतेहपुर। पुरानी पेंशन बहाली सहित अन्य मांगों को लेकर संयुक्त संघर्ष समिति के पदाधिकारियों ने जिले की सांसद एवं केंद्रीय राज्यमंत्री साध्वी निरंजन ज्योति को संबोधित एक ज्ञापन उनके प्रतिनिधि को सौंपकर शिक्षकों व कर्मचारियों की लंबित मांगों के सकारात्मक निदान के लिए केंद्र व राज्य सरकारों से शीघ्र कराने में सक्रिय एवं सकारात्मक भूमिका निभाये जाने की अपील की है।

सोमवार को संयुक्त संघर्ष समिति के जिलाध्यक्ष कालीशंकर श्रीवास्तव व जिला महामंत्री मनोज कुमार वर्मा की संयुक्त अगुवाई में पदाधिकारी जिले की सांसद एवं केंद्रीय राज्यमंत्री साध्वी निरंजन ज्योति के आवास पहुंचे। जहां उनके प्रतिनिधि को एक ज्ञापन सौंपकर बताया कि शिक्षकों एवं कर्मचारियों की मांगे विगत कई वर्षों से शासन स्तर पर विचाराधीन हैं। संगठन के अनवरत प्रयासों व शासकीय व विभागीय बैठकों के उपरान्त भी इन समस्याओं का समाधान नहीं हो सका। मात्र आश्वासन ही मिले हैं, जबकि कई मांग बिंदुओं के निस्तारण में वित्तीय उपाशय नहीं है। ज्ञापन में कहा गया कि पुरानी पेंशन बहाली की मांग विगत पंद्रह वर्षों से लंबित है।

सरकार इसे मानने को तैयार नहीं है। जबकि यह प्रदेश के 17 लाख कर्मचारी व शिक्षकों व उनके परिवारों से जुड़ी मांग है। विशेष वेतन को एक पक्षीय ढंग से समाप्त कर दिया गया। डीए एरियर की धनराशि का भुगतान न करने के आदेश मिले। कर्मचारियों व शिक्षकांे की इस सरकार में कोई सुनवाई नहीं है। कर्मचारियों, शिक्षकों के पक्ष में सर्वोच्च न्यायालय व उच्च न्यायालय के फैसलों का अनुपालन रोकने के लिए कानून व

अधिसूचना जारी कर उनको दशकों पहले की बैक डेट से लागू करने की परंपरा डालने, अनेक विभागों में 10-20 वर्षों से संविदा, मानदेय आदि के रूप में निरंतर कार्यरत कार्मिकों व शिक्षकों का नियमितीकरण न होने, कैडर-रिव्यू न करने, सफाई कर्मियों की सेवा सेव नियमावली न बनाने, दशकों से स्थापित स्थानांतरण नीति में लोकतंत्र विरोधी परिवर्तन करने जैसे अनेक विषयों में कर्मचारियों, शिक्षकांे के असंतोष को बढ़ाया है। ज्ञापन में कहा गया कि ओपीएस बहाली का आंदोलन राष्ट्रीय परिदृष्य में गतिमान और प्रभावी है।

पांच राज्यों में इसकी बहाली भी हो गई है। कहा गया कि एनपीएस सरकार की नजर में इतनी अच्छी है तो जनप्रतिनिधियों से सेनाओं, न्यायिक अधिकारियों आदि पर क्यांे लागू नहीं करती। सरकार ने कर्मचारी व शिक्षक के परिवारों से बुढ़ापे की लाठी का सहारा छीन लिया है। केंद्रीय राज्यमंत्री से मांग किया कि शिक्षकों व कर्मचारियों की लंबित मांगों विशेषकर पुरानी पेंशन बहाली का सकारात्मक निदान केंद्र व राज्य सरकारों से शीघ्र कराने में सक्रिय एवं सकारात्मक भूमिका निभाई जाये। इस मौके पर वरिष्ठ उपाध्यक्ष राम किशोर यादव, सर्वेश कुमार, हंसराज सहित तमाम लोग मौजूद रहे।

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